नियमित व्यायाम करने से शरीर को होनेवाले लाभ।

 नियमित व्यायाम करने से शरीर पर होने वाले परिणाम।

1 सर्वसाधारण लाभ।

2 शरीर की विविध कार्य संस्थाओं को होने वाले लाभ।

1 सर्वसाधारण लाभ 

1 नियमित कार्य करने की क्षमता बढ़ती है।

2 मानसिक स्वास्थ् सुधरता है।

3 बढ़ते हुए उम्र के अनुसार शारीरिक क्षमताओं में आने वाली कमी को घटाता है।

4 शरीर निरोगी होकर प्रतिकार शक्ति बढ़ती है।

5 बदलते मौसम से होने वाली बीमारी में कमी आती है।


2 शरीर के विविध कार्य संस्थाओं को होने वाले लाभ।

1 श्वसनक्रिया संस्था।

व्यायाम करने से ह्रदय का आकार खून संचार की क्षमता, फेफड़ों की कार्य क्षमता में बढ़ोतरी होती है। प्रौढ़ और बुजुर्गो में उत्साह उत्साह बढ़ता है।

2 पाचन संस्था।

व्यायाम करने से पाचन संस्था का विकास होता है। आत की बीमारियों से छुटकारा मिलता है। मोटापा कम होता है।

3 रक्ताभिसरण संस्था। 

1 नियमित व्यायाम करने से हृदय का कार्य सुचारु रुप से चलता है। 

2 रक्त संचार का कार्य करने की क्षमता बढ़ती है।

3 खून में गांठ और रक्त नलिका छोटे होने की प्रक्रिया पर रोक लगती है। 


4 स्नायु संस्था।

 1 नियमित व्यायाम करने से शरीर के स्नायु मजबूत होकर ताकत और स्फूर्ति बढ़ती है।

2 स्नायु का विकास होता है।

3 स्नायु का आरोग्य और कार्य क्षमता बढ़ती है।


5 अस्थिसंस्था।

1 नियमित व्यायम करने से हड्डियों का विकास होकर उनमें मजबूती आती है।

2 शरीर के जोड़ों में लचीलापन होने से जोड़ों में चोट लगने का खतरा कम हो जाता है।

3 हड्डियों का आरोग्य सुधर जाता है।


6 चेतासंस्था।

1 व्यायाम करने से चेतासंस्था का कार्य नियमित और अचूक होता है।

2 चेतासंस्था में मस्तिष्क गर्दन और रीढ़ की हड्डी इन इंद्रियों की कार्य क्षमता बढ़ती है।


7 ग्रंथीसंस्था।

व्यायाम करने से अंत स्त्राव और बाह्य स्त्राव ग्रंथि क्रियाशील हो जाती हैं। ग्रंथि का विकास होने से ऊंचाई वजन और रक्तचाप का नियंत्रण में रहता है।



टिप्पणियाँ

  1. नियमित व्यायाम करने से शरीर पर होने वाले परिणाम।

    1 सर्वसाधारण लाभ।

    2 शरीर की विविध कार्य संस्थाओं को होने वाले लाभ।

    1 सर्वसाधारण लाभ

    1 नियमित कार्य करने की क्षमता बढ़ती है।

    2 मानसिक स्वास्थ् सुधरता है।

    3 बढ़ते हुए उम्र के अनुसार शारीरिक क्षमताओं में आने वाली कमी को घटाता है।

    4 शरीर निरोगी होकर प्रतिकार शक्ति बढ़ती है।

    5 बदलते मौसम से होने वाली बीमारी में कमी आती है।



    2 शरीर के विविध कार्य संस्थाओं को होने वाले लाभ।

    1 श्वसनक्रिया संस्था।

    व्यायाम करने से ह्रदय का आकार खून संचार की क्षमता, फेफड़ों की कार्य क्षमता में बढ़ोतरी होती है। प्रौढ़ और बुजुर्गो में उत्साह उत्साह बढ़ता है।

    2 पाचन संस्था।

    व्यायाम करने से पाचन संस्था का विकास होता है। आत की बीमारियों से छुटकारा मिलता है। मोटापा कम होता है।

    3 रक्ताभिसरण संस्था।

    1 नियमित व्यायाम करने से हृदय का कार्य सुचारु रुप से चलता है।

    2 रक्त संचार का कार्य करने की क्षमता बढ़ती है।

    3 खून में गांठ और रक्त नलिका छोटे होने की प्रक्रिया पर रोक लगती है।



    4 स्नायु संस्था।

    1 नियमित व्यायाम करने से शरीर के स्नायु मजबूत होकर ताकत और स्फूर्ति बढ़ती है।

    2 स्नायु का विकास होता है।

    3 स्नायु का आरोग्य और कार्य क्षमता बढ़ती है।



    5 अस्थिसंस्था।

    1 नियमित व्यायम करने से हड्डियों का विकास होकर उनमें मजबूती आती है।

    2 शरीर के जोड़ों में लचीलापन होने से जोड़ों में चोट लगने का खतरा कम हो जाता है।

    3 हड्डियों का आरोग्य सुधर जाता है।



    6 चेतासंस्था।

    1 व्यायाम करने से चेतासंस्था का कार्य नियमित और अचूक होता है।

    2 चेतासंस्था में मस्तिष्क गर्दन और रीढ़ की हड्डी इन इंद्रियों की कार्य क्षमता बढ़ती है।



    7 ग्रंथीसंस्था।

    व्यायाम करने से अंत स्त्राव और बाह्य स्त्राव ग्रंथि क्रियाशील हो जाती हैं। ग्रंथि का विकास होने से ऊंचाई वजन और रक्तचाप का नियंत्रण में रहता है।

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